बिहार में रेमडेसिविर इंजेक्शन के साइड इफेक्ट की जांच शुरू, मरीजों में कंपकपी व ऑक्सीजन लेवल गिरने की मिली थी शिकायत
बिहार के विभिन्न अस्पतालों में कोरोना संक्रमितों के इलाज के लिए आपूर्ति की गई रेमडेसिविर इंजेक्शन की जांच शुरू हो गयी है। ड्रग कंट्रोलर, बिहार के कार्यालय के आधिकारिक सूत्रों ने बताया कि रेमडिसिविर के कुछ बैच के सैम्पल कोलकाता स्थित सेंट्रल ड्रग लेबोरेटरी जांच के लिए भेजे गए हैं। सूत्रों ने बताया कि पटना के तीन बड़े निजी अस्पतालों की शिकायत के बाद सैम्पल जांच को भेजे गए हैं।
पारस, फोर्ड और साईं अस्पताल ने ड्रग कंट्रोलर से शिकायत की थी:
पटना के निजी अस्पताल पारस, फोर्ड और साईं अस्पतालों ने रेमडेसिविर के मरीजों पर होने वाले रिएक्शन के प्रमाण के साथ औषधि महानियंत्रक को इसकी जानकारी दी थी। इस पर राज्य औषधि नियंत्रक रवींद्र कुमार सिन्हा ने जांच और कार्रवाई के लिए बिहार मेडिकल सर्विसेस एंड इंफ्रास्ट्रक्चर कॉर्पोरेशन लिमिटेड (बीएमएसआईसीएल) के महाप्रबंधक (क्रय) को पत्र लिखा।
बीएमएसआईसीएल ही वह संस्थान है जो राज्य में रेमडिसिविर की आपूर्ति कर रहा है। महाप्रबंधक को लिखे गए पत्र में औषधि महानियंत्रक ने कहा कि श्री साईं हॉस्पिटल ने शिकायत की है कि जाइडस हेल्थ केयर लिमिटेड का 19 वायल इंजेक्शन ( Remdac LQ, Batch no V 100167, Mfg 04/2021, Exp.dt-09/2021) मिला था। इसको देने के बाद मरीजों में हाइपर सेंसिटिविटी रिएक्शन देखा गया। उनमें कंपकपी हुई और ऑक्सीजन का स्तर भी गिर गया।
इसके अलावा पारस हॉस्पिटल ने भी शिकायत की है कि 8 मरीजों को यही इंजेक्शन दिया गया, जिससे मरीजों में हाइपर सेंसिटिविटी रिएक्शन देखने को मिला। फोर्ड हॉस्पिटल ने भी निदेशालय को सूचना दी कि मरीज में एडवर्स रिएक्शन देखने को मिला है। औषधि महानियंत्रक ने तुरंत जांच और कार्रवाई करने की मांग बीएमएसआईसीएल के महानिदेशक (क्रय) से की। इसके बाद जांच की कार्रवाई शुरू की गई है।
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