उत्तर प्रदेश में अब जांच और कानून-व्यवस्था के लिए होगी अलग पुलिस, योगी आदित्यनाथ सरकार का बड़ा फैसला
उत्तर प्रदेश की योगी आदित्यनाथ सरकार ने राज्य पुलिस में बड़े बदालव किए हैं। अब उत्तर प्रदेश की पुलिस में जांच (विवेचना) के लिए अलग और कानून-व्यवस्था देखने के लिए अलग इकाई होगी। राज्य सरकार के इस फैसले से पुलिस अपने काम को और प्रभावी ढंग से कर पाएगी।
उत्तर प्रदेश की योगी आदित्यनाथ सरकार ने राज्य पुलिस में बड़े बदालव किए हैं। अब उत्तर प्रदेश की पुलिस में जांच (विवेचना) के लिए अलग और कानून-व्यवस्था देखने के लिए अलग इकाई होगी। राज्य सरकार के इस फैसले से पुलिस अपने काम को और प्रभावी ढंग से कर पाएगी। जांच इकाई के गठन से पुलिस के काम में तेजी आएगी और जल्द से जल्द मामलों का निपटारा भी हो सकेगा।
राज्य सरकार के फैसले के मुताबिक उत्तर प्रदेश के पुलिस कमिश्नरेट और जनपदों के सभी पुलिस थाने में एक विवेचना इकाई का गठन किया जाएगा। विवेचना इकाई का प्रभारी थाने में नियुक्त निरीक्षक (Inspector Crime) अपराध होगा। यह इकाई साल में 40 विवेचनाएं करेगी। इस इकाई में नियुक्ति की अवधि न्यूनतम दो साल की होगी। इसके साथ ही इस इकाई में नियुक्ति के पहले या बाद में ट्रेनिंग भी दी जाएगी।
विवेचना इकाई का काम महत्वपूर्ण होगा। विवेचना इकाई के 'निरीक्षक अपराध' जिन कामों को देखेंगे,उनमें 50 लाख से अधिक के आर्थिक धोखाधड़ी के अपराध,जाली मुद्रा के अपराध,आईटी एक्ट के अपराध, इंडिनय पैनल कोड के अंतर्गत धारा 406, 407, 408, 409, 420, 424, 465, 467, 468, 471 और 472 के तहत दर्ज मामले,पॉक्सो अधिनियम के अंतर्गत दर्ज प्रकरण,राष्ट्र के विरुद्ध दर्ज किए गए प्रकरण,एनडीपीएस अधिनियम के उन अपराधों की विवेचना जिनमें बरामगदी व्यवसायिक मात्रा की श्रेणी में हो,विस्फोटक पदार्थ अधिनियम, संगठित शराब तस्करी और संगठित हथियार तस्करी संबंधित प्रकरण शामिल हैं।
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